नई दिल्ली/ दीक्षा शर्मा। भगवान शिव का सबसे प्रिय माह यानी सावन का महीना शुरू हो चुका है, और सभी भक्त अलग अलग उपाय से भोलनाथ को प्रसन्न करने में जुटे हैं. हिन्दू धर्म में सावन के महीने का बेहद ही अलग महत्व है. आपको बता दें कि नाग पंचमी भी इसी महीने के आखिर में मनाया जाता है. ये त्यौहार सावन मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी को मनाया जाता है.
दरअसल, यह त्यौहार इस माह की 25 तारीख को मनाया जाएगा. नाग देवता की पूजा और उन्हें दूध पिलाने की परम्परा कई सालों से चलती आ रही है. लेकिन क्या आप जानते है नाग पंचमी के दिन नाग देवता को दूध पिलाने के पिछे क्या महत्त्व है?
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तो इसलिए पिलाया जाता है नाग देवता को दूध
भविष्य पुराण के अनुसार कहा जाता है कि नाग पंचमी के दिन नाग देवता की पूजा और नागों को दूध पिलाने से नाग देवता अति प्रसन्न हो जाते हैं. पौराणिक कथा के अनुसार माना जाता है कि एक बार महाराज जनमेजय ने नाग यज्ञ करवाया था जिसके कारण नागों का शरीर जल गया था तब आस्तिक मुनि ने उनके शरीर पर दूध डालकर उनकी रक्षा की थी.
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भगवान शिव और विष्णु दोनों रहते हैं प्रसन्न
जैसा कि हम सभी जानते हैं कि हिन्दू धर्म में भगवान शिव ने नाग को गले में धारण किया तो वहीं भगवान विष्णु ने शैय्या बनाई थी. ऐसे में मान्यता है कि नाग की आराधना करने से भगवान शिव और विष्णु दोनों प्रसन्न होते हैं.